Hindi Jokes: संस्कृत की क्लास मे गुरूजी ने पूछा श्लोक का अर्थ, जवाब सुनकर हंसी नहीं रोक पाएंगे आप

Hindi Jokes: नकारात्मक सोच को आपके मन से हटाने के लिए आज हम आपके लिए कुछ ऐसे मजेदार चुटकुले लेकर आए हैं, जिन्हें पढ़ने के बाद आप हंसते-हंसते लोटपोट हो जाएंगे.

Advertisements

Hindi Jokes: कोरोना संक्रमण के चलते पुरे देश में लॉकडाउन घोषित है. लगभग सब कुछ बंद है. लोगों के मन में अजीबो-गरीब ख्याल और नकारात्मक सोच जरूर आ रहे होंगे. इन नकारात्मक सोच को आपके मन से हटाने के लिए आज हम आपके लिए कुछ ऐसे मजेदार चुटकुले लेकर आए हैं, जिन्हें पढ़ने के बाद आप हंसते-हंसते लोटपोट हो जाएंगे. तो चलिए शुरू करते हैं हंसने-हंसाने का ये सिलसिला…


बहुत दिनों से एक पड़ोसी नहीं दिखे,

Advertisements

मुझे लगा, कहीं “निपट” तो नहीं गए….!

यही सोच कर आज मैं उनके 🏚 घर चला गया।

Advertisements

देखा तो उनके 👢पैर में प्लास्टर चढ़ा हुआ था।

उसे देख कर मेरे “कब” और “कैसे” वाले सवालों पर उन्होंने “रहस्यमयी मुस्कान” के साथ धीरे से जवाब दिया….

Advertisements

“टैन्शन” मत लो, मुझे हुआ कुछ नहीं है।

जब तक लॉक-डाउन लगा है, कहीं जाना तो था नहीं….

इसलिये ऑफ़िस से आते वक्त पैर में प्लास्टर चढ़वा लिया था…..

नहीं तो…. घरवाली काम करवा-करवा कर कमर तोड़ देती।

😗 माने या ना माने 😗

अब…. आराम ही आराम है और सेवा भी भरपूर मिल रही है। काम करवाना तो दूर, पानी के खाली ग्लास तक को हाथ लगाने नहीं देती।

उपर से दिन भर ये सुनने को मिलता है…. इस बहाने आपकी “सेवा” का अवसर पाकर मैं तो “धन्य” हो गई….!!
😆😆😂😂🤣🤣🤣🤣🤣


भगवान सब्र दे उन लोगों को जिनकी बीबी मायके में फंसी है😂😂

और हिम्मत दे

उन लोगों को जो बीबी के पास फंसे हैं.
🙈🙊🙉😂😂


😂😂हँसी रोक नहीं पाओगे😂😂

संस्कृत की क्लास मे गुरूजी ने पूछा = पप्पू इस श्लोक का अर्थ बताओ.

“कर्मण्येवाधिकारस्ते मा फलेषु कदाचन”.

पप्पू = राधिका शायद रस्ते मे फल बेचने का काम कर रही है.😎

गुरूजी = मूर्ख, ये अर्थ नही होता है. चल इसका अर्थ बता:-
“बहुनि मे व्यतीतानि, जन्मानि तव चार्जुन.” 😋

पप्पू = मेरी बहू के कई बच्चे पैदा हो चुके हैं, सभी का जन्म चार जून को हुआ है.😬😑

गुरूजी गुस्सा हो गये फिर पुछा :-

“तमसो मा ज्योतिर्गमय”

पप्पु= तुम सो जाओ माँ मैं ज्योति से मिलने जाता हुँ. 😂😂😂

गुरूजी = अरे गधे, संस्कृत पढता है कि घास चरता है. अब इसका अर्थ बता:-

“दक्षिणे लक्ष्मणोयस्य वामे तू जनकात्मजा.”

पप्पू = दक्षिण मे खडे होकर लक्ष्मण बोला जनक आजकल तो तू बहुत मजे मे है.

गुरूजी = अरे पागल, तुझे १ भी श्लोक का अर्थ नही मालूम है क्या ?

पप्पू = मालूम है ना. 😃

गूरूजी = तो आखरी बार पूछता हूँ इस श्लोक का सही सही अर्थ बताना.-

हे पार्थ त्वया चापि मम चापि…….!

क्या अर्थ है जल्दी से बता.

पप्पू = महाभारत के युद्ध मे श्रीकृष्ण भगवान अर्जुन से कह रहे हैं कि…….. 😎😉

गुरूजी उत्साहित होकर बीच मे ही

कहते हैं = हाँ, शाबास, बता क्या कहा श्रीकृष्ण ने अर्जुन से……..? 😘

पप्पू =

भगवान बोले = अर्जुन तू भी चाय पी ले, मैं भी चाय पी लेता हूँ. फिर युद्ध करेंगे.

गुरूजी बेहोश…………..

😅😅😅😀😀😜😜

Updated On: March 20, 2022 10:24 am

संबंधित खबरें

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *